गर्मियों की एक रात में, बुझी हुई candle,
उसकी जलती महक, तेरी याद दिलाती है।
भीगे बालों से टपकता पानी,
उसकी भीगी हुई सी धार, तेरी याद दिलाती है।
जब अचानक से बिजली चली जाती है,
अजब से अंधेरे की आहट, तेरी याद दिलाती है।
खामोश कई वह लम्हे, जब यूही बैठे रहते है,
उन लम्हों की खामोशी, तेरी याद दिलाती है.
पुरानी कोई किताब खोलकर, पीले मुरझाये पन्नों में,
कोई अपनी सी कहानी, तेरी याद दिलाती है।
बारिशों के पहले पहले दिनों में,
हर बूँद की छलकने की आवाज़, तेरी याद दिलाती है।
जब कभी तेरी याद आती है, येही सोचा करते है,
कि सिर्फ़ याद ही क्यों आती है?
5 years ago
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